akola news : नायलॉन मांजे से दुपहिया वाहन चालक की मौत

शहर में हुई कई घटनाएं



(अकोला बातमी पत्र )

मकर संक्रांति का त्यौहार जिंदगी पर भारी पड़ने लगा है। तमाम रोक थाम के बावजूद प्रतिबंधित नायलॉन मांजे का उपयोग इस कदर बढ़ा है कि लोगों की जानें तक जा रही हैं।  इसी मांजे से मोटरसाइकिल चालक 35 वर्षीय युवक का गला कट गया और उसने हॉस्पिटल जाते समय दम तोड़ दिया। आज शाम करीब 6 बजे शहर के नेहरू पार्क के पास एनसीसी ऑफिस के सामने नायलॉन मांजे से  बाइक सवार की दुर्भाग्यवश मृत्यु हो गई। अकोट फाइल निवासी किरण सोनवणे (उम्र-35) शाम करीब 6 बजे अपनी बाइक से जा रहे थे, अकोला बातमी पत्र तभी अचानक नायलॉन मांजा उनकी गर्दन में फंस गया। मांजे का तनाव इतना ज्यादा था कि उसका गला गहराई तक कट गया और उसकी सांस लेने वाली नली कट गई।घटनास्थल पर ही उसका खून बहने लगा. नागरिक और यातायात पुलिस ने तुरंत उसे अकोला सर्वोच्च अस्पताल में ले  कर गए; हालांकि अस्पताल पहुंचने से पहले ही उनकी मौत हो गई.


किसी का मजा, किसी को सजा

किसी की मजा किसी के लिए सजा बन रही है. घातक नायलॉन मांजे पर सरकार ने प्रतिबंध लगा दिया है. बावजूद इसके दूकानदार अपने लाभ के लिए ग्राहकों को नायलॉन मांजा बेच कर कमाई के मजे ले रहे है. वहीं पतंगबाज भी इसमें पीछे नहीं है. अपने मजे के लिए नायलॉन मांजे का उपयोग कर लोगों की जान के साथ खिलवाड़ कर रहे है. पुलिस समय-समय पर कार्रवाई कर रही है. मनपा की एनडीएस भी कार्रवाई में जुटी है, लेकिन यह शौक अब जानलेवा साबित हो रहा है.शहर के कुछ जिम्मेदार नागरिकों ने अकोला बातमी पत्र को जानकारी दी के आज सुबह से ही कई मामले सामने आए है। खोलेश्वर परिसर में गणेश श्रीवास्तव नामक व्यक्ति की आंखें जख्मी हो गई है। अकोला महानगर पालिका में कार्यरत कर्मचारी मंगेश पुरुषोत्तम बोपटे का गला और हाथ कट गया है।वही तेजस अंबसकर का भी गला कटने से व्हो गंभीर जख्मी हो गया है।घुसर में भी एक महिला की नाक कटने से व्हो भी घायल हो गई है।इस तरह की और भी घटनाएं हुई है, लेकिन पतंगबाज और विक्रेताओं पर इसका कोई असर नहीं हो रहा.

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